AI टेक्नोलॉजी हर दिन नई ऊँचाइयों को छू रही है। हाल ही में सोशल मीडिया पर एक पोस्ट वायरल हुई है, जिसमें Seedance V4 Edit नामक AI मॉडल का शानदार उपयोग दिखाया गया। इस पोस्ट में Midjourney से बनाई गई एक ग्रोसरी स्टोर (किराने की दुकान) की इमेज को AI अपस्केलिंग तकनीक की मदद से बदलकर 8K रिजॉल्यूशन में कन्वर्ट किया गया। नतीजा इतना रियलिस्टिक निकला कि देखने वाले हैरान रह गए।
AI अपस्केलिंग की यह प्रक्रिया 2022 में Midjourney की शुरुआत के बाद से लगातार एडवांस होती गई है। 2024 में Journal of Artificial Intelligence Research की एक स्टडी में बताया गया कि AI अपस्केलिंग से टेक्सचर डिटेल में लगभग 300% तक सुधार हो सकता है। इसका मतलब यह है कि जो इमेज पहले धुंधली या साधारण दिखती थी, वही AI की मदद से बेहद क्लियर और हाई-क्वालिटी रिजॉल्यूशन में देखी जा सकती है।
हालांकि इस प्रोसेस के दौरान कभी-कभी छोटे-मोटे आर्टिफैक्ट्स यानी डिफेक्ट्स भी दिखाई देते हैं। उदाहरण के तौर पर, इस वायरल इमेज में शूज़ (जूते) के किनारों पर हल्की-सी डिफिनिशन गड़बड़ नजर आई। लेकिन फिर भी, पूरे विजुअल क्वालिटी में इतना सुधार हुआ कि यह कमी लगभग नजरअंदाज हो जाती है।
इस प्रोजेक्ट में AI कम्युनिटी के दो क्रिएटर्स @cfryant और @BrentLynch की अहम भूमिका रही। दोनों ने मिलकर Midjourney इमेज पर Seedance V4 Edit का प्रयोग किया और रिजल्ट्स को ओपन-सोर्स प्रॉम्प्ट्स और डेमो के रूप में शेयर किया। यह ट्रेंड अब तेजी से बढ़ रहा है, जहां AI आर्टिस्ट और क्रिएटर्स ओपन-सोर्स टूल्स का इस्तेमाल कर रहे हैं।
इन टूल्स में Fal.ai का Clarity Upscaler खासा लोकप्रिय हो रहा है। इसका फायदा यह है कि अब हाई-क्वालिटी इमेज जेनरेशन सिर्फ बड़ी कंपनियों तक सीमित नहीं है, बल्कि आम क्रिएटर्स और डिजाइनर्स भी इसे यूज़ कर पा रहे हैं। यह पूरी प्रक्रिया AI की डेमोक्रेटाइजेशन यानी आम लोगों तक तकनीक पहुंचाने का बड़ा उदाहरण है।
AI का यह अपस्केलिंग फीचर खासतौर पर कॉन्टेंट क्रिएटर्स, ग्राफिक डिजाइनर्स और डिजिटल आर्टिस्ट्स के लिए बेहद उपयोगी साबित हो रहा है। अब कोई भी साधारण इमेज को 4K या 8K रिजॉल्यूशन में बदल सकता है, जो पहले सिर्फ प्रोफेशनल स्टूडियो या महंगे सॉफ्टवेयर से ही संभव था।
आने वाले समय में ऐसे अपस्केलिंग मॉडल्स सिर्फ इमेज तक सीमित नहीं रहेंगे, बल्कि वीडियो क्वालिटी को भी इसी तरह बेहतर बनाने में मदद करेंगे। इससे फिल्ममेकिंग, विज्ञापन और गेमिंग इंडस्ट्री में क्रांति आने की संभावना है।
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