इंटरनेट को अक्सर एक “iceberg” यानी बर्फ़ के पहाड़ जैसा बताया जाता है। ऊपर का छोटा हिस्सा हमारे सामने होता है, जिसे हम “Surface Web” कहते हैं, यानी Google, YouTube, Facebook जैसी वेबसाइटें। लेकिन नीचे की परतों में Deep Web और Dark Web जैसी रहस्यमयी दुनिया छिपी होती है। इसी को लेकर अक्सर लोग कहते हैं कि Dark Web असली इंटरनेट का बड़ा हिस्सा है, लेकिन 2019 में यूनिवर्सिटी ऑफ़ पोर्ट्समाउथ की एक स्टडी ने बताया कि Dark Web इंटरनेट का सिर्फ़ 0.1% हिस्सा है। हां, यह बहुत छोटा है, लेकिन यहाँ मिलने वाली गुप्त और अवैध गतिविधियाँ इसे सबसे चर्चित बनाती हैं।
Dark Web पर ड्रग्स, हैकिंग टूल्स और अवैध मार्केटप्लेस जैसी चीज़ें मिलती हैं। यही वजह है कि लोग इसे इंटरनेट की “डरावनी परत” मानते हैं। लेकिन सच्चाई यह है कि Dark Web बहुत छोटा हिस्सा है और इंटरनेट का बड़ा भाग Deep Web में है, जहाँ रिसर्च पेपर्स, डेटाबेस और प्राइवेट सर्वर छिपे रहते हैं।
अब सवाल उठता है कि अगर Dark Web इतना छोटा है तो लोग इसे इतना बड़ा क्यों मानते हैं? इसका कारण है “मिथक” यानी myths। लोग मानते हैं कि गूगल पर न मिलने वाली हर चीज़ Dark Web में है, जबकि असलियत में वो Deep Web है।
Google और Hidden Websites का सच
2023 में Washington Post ने एक बड़ा खुलासा किया। Google का AI training dataset (C4 dataset) लगभग 1.5 करोड़ websites से बना है, जिनमें कई ऐसी obscure यानी अनजान websites शामिल हैं जिन्हें हम गूगल सर्च में शायद ही देख पाते हैं। इसका मतलब है कि Google के पास डेटा तो मौजूद है, लेकिन वो अपने एल्गोरिद्म के ज़रिए सिर्फ़ उन्हीं साइट्स को दिखाता है जो उसे ज़्यादा commercial value देती हैं।
Peer-reviewed research में भी पाया गया है कि Google और अन्य सर्च इंजन अक्सर commercial content को प्राथमिकता देते हैं और niche websites पीछे छूट जाती हैं। इसका असर यह होता है कि valuable knowledge छिपी रह जाती है और हमें सिर्फ़ वही दिखाई देता है जो मार्केटिंग के लिहाज़ से फायदेमंद होता है।
सोचिए, अगर Google पर आपको हर वह वेबसाइट मिल जाए जो उसके dataset में है, तो इंटरनेट की दुनिया और भी बड़ी और खुली नज़र आएगी। लेकिन ऐसा नहीं होता, और यही कारण है कि लोग कहते हैं “Google असली वेब छुपाता है।“
AI Websites का 2025 धमाका
आपने हाल ही में सोशल मीडिया पर “45 AI Websites” की लिस्ट देखी होगी, जो आपके काम को आसान बना देती हैं। लेकिन असली गेम इससे कहीं बड़ा है। ScienceDaily की 2025 रिपोर्ट बताती है कि सिर्फ़ इस साल में ही 1200+ AI platforms लॉन्च हो चुके हैं।
ये AI tools हर सेक्टर को बदल रहे हैं – कंटेंट राइटिंग, वीडियो एडिटिंग, स्टॉक मार्केट एनालिसिस, मेडिकल रिसर्च और यहां तक कि आपकी डेली लाइफ़ तक। लेकिन मज़ेदार बात ये है कि इनमें से ज्यादातर websites अभी तक ज़्यादा लोगों को पता ही नहीं हैं।
इसका मतलब ये है कि इंटरनेट का “hidden part” सिर्फ़ Dark Web नहीं है, बल्कि AI websites भी हैं, जिन्हें कम लोग जानते हैं लेकिन वे दुनिया बदलने की ताकत रखती हैं।
तो अब आपके दिमाग में ये 3 बड़े सवाल होंगे –
- क्या Dark Web सच में उतना खतरनाक है जितना बताया जाता है?
- क्यों Google valuable websites छिपाता है?
- और कौन सी AI websites 2025 में सबसे ज़्यादा फायदेमंद होंगी?
अगर आप इन सवालों का जवाब ढूंढना चाहते हैं तो आपको इंटरनेट को सिर्फ़ “Google सर्च” की नजर से नहीं देखना चाहिए। असली गेम Deep Web, Hidden Datasets और AI platforms में छिपा है।